क्या 1 अप्रैल से नए नियम आपकी जेब पर असर डालेंगे
आज से एटीएम, यूपीआई, टोल और टैक्स से जुड़े नियम बदले….
नई दिल्ली : आज से नए वित्त वर्ष 2025-26 की शुरुआत हो गई है और इसके साथ ही कई महत्वपूर्ण बदलाव लागू हो गए हैं, जो आम आदमी की जेब पर सीधा असर डालेंगे। इन बदलावों में टैक्स स्लैब में संशोधन, बैंकिंग नियमों में परिवर्तन, यूपीआई ट्रांजेक्शन पर शुल्क, एटीएम निकासी शुल्क में बदलाव, टोल दरों में बढ़ोतरी और जीएसटी से जुड़ी नई व्यवस्थाएं शामिल हैं।
नए नियमों के तहत बैंकिंग क्षेत्र में बड़े बदलाव किए गए हैं। अब एटीएम से निशुल्क निकासी की सीमा को कम कर दिया गया है, जबकि निर्धारित सीमा से अधिक निकासी पर पहले से अधिक शुल्क देना होगा। इसके अलावा, यूपीआई लेनदेन पर भी चार्ज लगाए जाने की प्रक्रिया शुरू हो सकती है, जिससे डिजिटल पेमेंट करने वाले ग्राहकों को अतिरिक्त खर्च उठाना पड़ सकता है।
टैक्स स्लैब में बदलाव के चलते मध्यम वर्ग को राहत मिल सकती है, लेकिन कुछ करदाताओं को अतिरिक्त कर भार भी झेलना पड़ सकता है। सरकार द्वारा घोषित आम बजट की घोषणाएं भी आज से लागू हो गई हैं, जिससे वरिष्ठ नागरिकों, वेतनभोगी वर्ग और व्यवसायियों पर प्रभाव पड़ेगा।
टोल दरों में भी बढ़ोतरी कर दी गई है, जिससे हाइवे पर सफर करने वाले यात्रियों को अधिक शुल्क देना होगा। नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) ने टोल दरों में संशोधन किया है, जिससे वाहनों पर आर्थिक बोझ बढ़ सकता है।
जीएसटी नियमों में हुए बदलावों के चलते व्यापारियों को नई दरों और कराधान प्रक्रियाओं के अनुसार अपने कारोबार को समायोजित करना होगा। इन संशोधनों का उद्देश्य कर प्रणाली को अधिक पारदर्शी और सरल बनाना है, लेकिन इससे व्यापारियों पर अतिरिक्त बोझ भी पड़ सकता है।
क्रेडिट कार्ड और डेबिट कार्ड से जुड़ी सेवाओं में भी बदलाव किए गए हैं। अब कुछ बैंकों ने अपने कार्डधारकों के लिए नए शुल्क लागू किए हैं, जिससे लेनदेन करने पर अतिरिक्त शुल्क चुकाना पड़ सकता है।
कुल मिलाकर, 1 अप्रैल 2025 से लागू हुए नए नियमों का प्रभाव हर वर्ग पर पड़ने वाला है। आम उपभोक्ताओं, करदाताओं और व्यवसायियों को इन परिवर्तनों के बारे में पूरी जानकारी रखना आवश्यक है, ताकि वे वित्तीय रूप से बेहतर योजना बना सकें। आने वाले दिनों में इन बदलावों का वास्तविक प्रभाव दिखने लगेगा।
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