हरियाणा के 11 जिलों में भारी बारिश
हिसार-पानीपत सहित कई शहरों की सड़कें जलमग्न, अगले 4 दिन और सताएगा मौसम…..
हरियाणा में मानसून ने एक बार फिर से जोर पकड़ लिया है और मंगलवार रात से शुरू हुई बारिश ने राज्य के कई जिलों को पानी-पानी कर दिया है। हिसार, पानीपत, रोहतक, करनाल, झज्जर, फतेहाबाद, कैथल, जींद, कुरुक्षेत्र, सिरसा और यमुनानगर जैसे जिलों में तेज बारिश ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया। कई जगहों पर जलभराव की स्थिति बन गई है, जिससे आम लोगों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
हिसार में रातभर हुई बारिश के कारण सड़कों पर पानी भर गया, जिससे वाहन चालकों को सुबह के समय खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। स्कूल जाने वाले बच्चों और दफ्तर जाने वाले कर्मचारियों को जलभराव के चलते रास्ता तय करने में काफी समय लग गया। वहीं पानीपत की प्रमुख सड़कों और गलियों में बारिश का पानी जमा हो गया है, जिससे ट्रैफिक धीमा पड़ गया और जगह-जगह जाम लग गया।
मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि हरियाणा में अगले चार दिन तक मौसम खराब रह सकता है। भारी से बहुत भारी बारिश की संभावना जताई गई है। खासकर उत्तर-पश्चिमी हरियाणा के जिलों में बादल गरजने, तेज हवाएं चलने और बिजली गिरने की आशंका है। किसानों को सलाह दी गई है कि वे फिलहाल खेतों में जाने से परहेज करें और अपनी फसल की सुरक्षा के उपाय करें।
इस बारिश ने जहां एक ओर लोगों को गर्मी से राहत दी है, वहीं दूसरी ओर जलभराव और ट्रैफिक की समस्या ने नगर निगम की व्यवस्थाओं पर सवाल खड़े कर दिए हैं। लोगों का कहना है कि हर साल बारिश में यही हाल होता है लेकिन स्थायी समाधान नहीं निकाला जाता। सड़कों पर पानी भरना अब आम बात हो गई है, जिससे दुर्घटनाओं का खतरा भी बढ़ गया है।
स्कूल प्रशासन भी इस अचानक बारिश से परेशान है। कई स्कूलों में बच्चों की उपस्थिति कम रही, वहीं कुछ निजी स्कूलों ने जलभराव को देखते हुए छुट्टी की घोषणा कर दी। दुकानदारों और व्यापारियों को भी नुकसान उठाना पड़ा क्योंकि ग्राहक बारिश के कारण दुकानों तक नहीं पहुंच सके।
वहीं स्वास्थ्य विभाग ने लोगों को सलाह दी है कि बारिश के मौसम में साफ पानी पिएं और खुले में बिक रहे खाने से बचें। डेंगू और मलेरिया जैसे बीमारियों का खतरा बढ़ सकता है। सरकारी तंत्र की ओर से राहत और बचाव कार्य जारी हैं। जल निकासी के लिए पंप लगाए जा रहे हैं, लेकिन लोगों को अभी भी राहत मिलने में समय लग सकता है। अगले कुछ दिनों तक सावधानी बरतने की जरूरत है क्योंकि मौसम अभी और कहर ढा सकता है।