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नेशनल स्पोर्ट गवर्नेंस बिल लोकसभा से पास

खेल मंत्री ने कहा- आजादी के बाद का सबसे बड़ा सुधार, 1975 से लंबित प्रस्ताव को मिली मंजूरी…..

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लोकसभा ने बहुप्रतीक्षित नेशनल स्पोर्ट गवर्नेंस बिल को मंजूरी दे दी है, जिसे खेल मंत्री ने आजादी के बाद का सबसे बड़ा खेल सुधार करार दिया। इस बिल का उद्देश्य देश में खेलों के प्रबंधन, पारदर्शिता और खिलाड़ियों के हितों को मजबूत करना है।

खेल मंत्री ने सदन में चर्चा के दौरान कहा कि यह सुधार केवल खिलाड़ियों तक सीमित नहीं है, बल्कि इससे खेल संघों और उनके संचालन में भी एक नई पारदर्शिता आएगी। उन्होंने बताया कि 1975 में इस तरह के खेल सुधार का प्रस्ताव पहली बार रखा गया था, लेकिन तब से लेकर अब तक यह लगातार अटका रहा। कई बार मसौदे तैयार हुए, चर्चाएं हुईं, लेकिन राजनीतिक और प्रशासनिक कारणों से इसे लागू नहीं किया जा सका।

बिल के पास होने के साथ ही देश में खेल प्रशासन को एक नई दिशा मिलने की उम्मीद है। अब खेल संघों के चुनाव, फंड का इस्तेमाल और खिलाड़ियों के चयन की प्रक्रिया अधिक पारदर्शी होगी। यह भी तय किया गया है कि खिलाड़ियों के अधिकारों और उनके करियर को नुकसान पहुंचाने वाले किसी भी निर्णय पर सख्त कार्रवाई होगी।

खेल मंत्री ने स्पष्ट किया कि यह बिल किसी खेल संघ की स्वतंत्रता को खत्म करने के लिए नहीं, बल्कि उन्हें अधिक जिम्मेदार और उत्तरदायी बनाने के लिए लाया गया है। उन्होंने कहा कि अब खिलाड़ियों को न्याय पाने के लिए लंबा इंतजार नहीं करना पड़ेगा, क्योंकि विवाद समाधान के लिए तेज़ और निष्पक्ष प्रक्रिया बनाई गई है।

विपक्षी दलों ने भी इस बिल के कई प्रावधानों का समर्थन किया, हालांकि कुछ दलों ने इसे लागू करने की चुनौतियों और राज्यों के अधिकारों पर प्रभाव को लेकर सवाल उठाए। इस पर खेल मंत्री ने आश्वासन दिया कि राज्यों की भूमिका और अधिकार सुरक्षित रहेंगे और यह बिल केंद्र और राज्यों के बीच सहयोगात्मक ढांचे को और मजबूत करेगा।

विशेषज्ञों का मानना है कि इस कानून से भारतीय खेलों में पेशेवर दृष्टिकोण आएगा और खिलाड़ियों को बेहतर संसाधन और सुविधाएं मिलेंगी। इसके अलावा, अंतरराष्ट्रीय खेल निकायों के साथ तालमेल बिठाने में भी मदद मिलेगी, जिससे भारत वैश्विक खेल मंच पर अधिक मजबूती से उभर सकेगा।

खेल मंत्री ने अंत में यह भी कहा कि खेल केवल पदक जीतने का माध्यम नहीं, बल्कि युवाओं को अनुशासन, टीमवर्क और देशभक्ति की शिक्षा देने का जरिया भी हैं। उन्होंने उम्मीद जताई कि यह बिल देश के खेल जगत में एक नए युग की शुरुआत करेगा।

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