हरियाणा चुनाव: इन सीटों पर निर्दलियों का दबदबा, कुछ ने छह बार तो कुछ ने पांच बार लगातार जीत हासिल की; जानें कुछ दिलचस्प मुकाबले – News On Radar India
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हरियाणा चुनाव: इन सीटों पर निर्दलियों का दबदबा, कुछ ने छह बार तो कुछ ने पांच बार लगातार जीत हासिल की; जानें कुछ दिलचस्प मुकाबले

हरियाणा विधानसभा चुनाव: हरियाणा में 2019 के विधानसभा चुनाव में 90 सदस्यीय विधानसभा में सात निर्दलीय उम्मीदवार जीतकर पहुंचे थे। राज्य की कई सीटों पर निर्दलीय उम्मीदवारों का दबदबा देखने को मिला है, जहां कुछ ने लगातार चार या उससे अधिक बार जीत हासिल की है।

हरियाणा का चुनावी महाकुंभ शुरू हो चुका है। 5 अक्टूबर को 90 सीटों के लिए मतदाता अपने मताधिकार का उपयोग करेंगे और अगले पांच साल का भविष्य तय करेंगे। 6 सितंबर से चुनावी प्रक्रिया शुरू हो गई है, और उम्मीदवारों ने नामांकन दाखिल करना शुरू कर दिया है, जिसमें कई निर्दलीय भी शामिल हैं।

पिछले विधानसभा चुनाव में सात निर्दलीय उम्मीदवार जीतकर सदन पहुंचे थे। इनमें से कुछ विधायकों ने मौजूदा सरकार को समय-समय पर समर्थन दिया है। पिछले चुनाव में जीते कुछ निर्दलीय विधायकों को इस बार भाजपा और कांग्रेस से भी टिकट मिले हैं। आइए जानते हैं कि हरियाणा की किन सीटों पर निर्दलीयों का दबदबा रहा है और वहां कैसे मुकाबले हुए हैं:

पुंडरी: यह विधानसभा सीट कैथल जिले में स्थित है। मौजूदा विधायक रणधीर सिंह गोलेन 2019 में निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर जीत हासिल की थी। पुंडरी सीट पर लगातार छह बार निर्दलीय उम्मीदवार ने जीत दर्ज की है, और कुल सात बार निर्दलीय उम्मीदवार विजयी रहे हैं।

1968 के विधानसभा चुनाव में पहली बार पुंडरी सीट पर आजाद उम्मीदवार की जीत हुई थी। उस चुनाव में कांग्रेस के तारा सिंह को हराकर निर्दलीय ईश्वर सिंह ने जीत दर्ज की थी।

1996 में निर्दलीय उम्मीदवार नरेंद्र शर्मा ने कांग्रेस के ईश्वर सिंह को हराकर जीत हासिल की। नरेंद्र शर्मा वही ईश्वर सिंह थे जिन्होंने 1968 में निर्दलीय चुनाव जीता था लेकिन बाद में कांग्रेस का हिस्सा बन गए थे।

2000 के चुनाव में मुख्य मुकाबला दो निर्दलीय प्रत्याशियों के बीच हुआ, जिसमें तेजवीर ने नरेंद्र को हराया।

2004 में निर्दलीय दिनेश कौशिक ने इनेलो के नरेंद्र शर्मा को हराया। अगले चुनाव में दिनेश कौशिक कांग्रेस के उम्मीदवार बने लेकिन निर्दलीय सुल्तान के हाथों हार गए।

2014 में दिनेश कौशिक ने भाजपा के रणधीर सिंह गोलेन को हराकर जीत हासिल की। कौशिक ने इससे पहले 2004 में भी निर्दलीय के रूप में जीत दर्ज की थी। पिछले विधानसभा चुनाव में भी रणधीर सिंह गोलेन ने कांग्रेस के सतबीर भाणा को 12,824 मतों से हराया।

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