पंजाब कैबिनेट फेरबदल: हरभजन से विभाग वापस, नई जिम्मेदारियों का बंटवारा
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पंजाब कैबिनेट फेरबदल, हरभजन से विभाग वापस

बिजली मंत्रालय अब संजीव अरोड़ा को सौंपा गया…..

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पंजाब की आम आदमी पार्टी (AAP) सरकार ने सोमवार को बड़ा कैबिनेट फेरबदल किया। इस फेरबदल में सबसे अहम फैसला पूर्व क्रिकेटर और मंत्री हरभजन सिंह ETO से बिजली विभाग वापस लेने का रहा। उनकी जगह यह जिम्मेदारी अब संजीव अरोड़ा को सौंपी गई है। इस बदलाव को पंजाब की राजनीति में बड़ा संदेश माना जा रहा है।

हरभजन सिंह को 2022 में मंत्री बनाए जाने पर काफी चर्चा हुई थी। क्रिकेट मैदान पर अपनी पहचान बनाने वाले हरभजन को राजनीति में भी एक मजबूत चेहरा माना गया। उन्हें ऊर्जा जैसे अहम मंत्रालय की जिम्मेदारी सौंपकर पार्टी ने संकेत दिया था कि नए और युवा चेहरे भी प्रशासनिक जिम्मेदारी उठा सकते हैं। लेकिन अब उनसे यह विभाग वापस लेकर सरकार ने रणनीतिक संतुलन साधने की कोशिश की है।

संजीव अरोड़ा को यह जिम्मेदारी सौंपे जाने को सरकार की कार्यशैली में नया अध्याय माना जा रहा है। अरोड़ा को प्रशासनिक अनुभव के साथ-साथ जमीन से जुड़े नेता के रूप में देखा जाता है। बिजली विभाग पंजाब सरकार के सबसे संवेदनशील मंत्रालयों में से एक है। राज्य में बिजली संकट, किसानों को मुफ्त बिजली का वादा और औद्योगिक क्षेत्रों को निर्बाध सप्लाई जैसी चुनौतियाँ हमेशा बनी रहती हैं। ऐसे में अरोड़ा पर बड़ी जिम्मेदारी आ गई है कि वे इन मुद्दों को सुलझाकर सरकार का विश्वास मजबूत करें।

फेरबदल की इस कार्रवाई ने पंजाब की राजनीति में हलचल पैदा कर दी है। विपक्ष ने तुरंत सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि लगातार विभागीय बदलाव यह दिखाता है कि मंत्रियों पर सरकार का भरोसा स्थिर नहीं है। कांग्रेस और अकाली दल का कहना है कि जनता से किए वादों पर काम करने की बजाय AAP सरकार आंतरिक खींचतान और संतुलन साधने में उलझी हुई है।

हरभजन सिंह के समर्थकों का मानना है कि यह फैसला उनके लिए झटका है। हालांकि, वे अब भी सरकार में मंत्री बने हुए हैं और उन्हें अन्य विभागों की जिम्मेदारी दी जाएगी। राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि यह फैसला पार्टी की आंतरिक रणनीति का हिस्सा है, जिसमें आने वाले उपचुनाव और 2027 विधानसभा चुनाव की तैयारी शामिल है।

दूसरी ओर, मुख्यमंत्री भगवंत मान का कहना है कि यह फेरबदल पूरी तरह से प्रशासनिक दृष्टिकोण से किया गया है। उनका कहना है कि सरकार की प्राथमिकता जनता को बेहतर सेवाएँ देना है और इसी मकसद से कैबिनेट में बदलाव किए गए हैं।

बिजली विभाग से जुड़े फैसले सीधे जनता को प्रभावित करते हैं। खासकर किसानों और आम उपभोक्ताओं के लिए यह विभाग हमेशा संवेदनशील रहा है। ऐसे में अब सबकी निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि संजीव अरोड़ा बिजली सप्लाई और सब्सिडी से जुड़े जटिल मुद्दों को किस तरह हल करते हैं।

यह फेरबदल पंजाब सरकार के लिए एक बड़ी चुनौती और संजीव अरोड़ा के लिए एक बड़ी परीक्षा साबित होने वाला है।

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