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महाकुंभ में प्रयागराज: मौनी अमावस्या पर श्रद्धालुओं का आंकड़ा कई देशों से भी ज्यादा

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दिल्ली : दिल्ली के 1700 निजी स्कूलों में नर्सरी कक्षा में दाखिले की पहली सूची के बाद अब भी कई स्कूलों में 20-30 फीसदी सीटें खाली हैं। इस बार ईडब्ल्यूएस (आर्थिक पिछड़े वर्ग) श्रेणी के लिए वार्षिक आय की सीमा पांच लाख रुपये तक किए जाने के कारण यह स्थिति उत्पन्न हुई है। इस कारण अभिभावक नामी स्कूलों में दाखिले के लिए ईडब्ल्यूएस श्रेणी की प्रक्रिया शुरू होने का इंतजार कर रहे हैं।

पहली सूची में दाखिले की प्रक्रिया:
दिल्ली के निजी स्कूलों में 27 जनवरी को पहली सूची से दाखिले की प्रक्रिया संपन्न हो चुकी है। हालांकि, कई स्कूलों का मानना है कि इस बार ईडब्ल्यूएस श्रेणी में वार्षिक आय की सीमा बढ़ने से उनकी सीटें खाली रही हैं। यही वजह है कि दूसरी सूची में भी दाखिले की संभावना बनी हुई है।

दूसरी सूची में दाखिला:
निजी स्कूलों में ईडब्ल्यूएस व वंचित श्रेणी के लिए दाखिला प्रक्रिया 3 फरवरी से शुरू होनी है, जिससे अभिभावकों के पास दूसरी सूची में भी दाखिला लेने का मौका रहेगा।

कुछ स्कूलों का स्थिति:
मौसम विहार स्थित डीएवी स्कूल की प्रिंसिपल वंदना कपूर ने बताया कि पहली सूची में सामान्य श्रेणी की कुल 112 सीटों में से करीब 45 सीटें ही भरी गई हैं। उनका कहना है कि इस बार दाखिला प्रक्रिया की गति धीमी रही, जिसका कारण ईडब्ल्यूएस श्रेणी में आय सीमा का बढ़ना है।

विद्या बाल भवन स्कूल में भी सामान्य श्रेणी की 90 सीटों में से 65 सीटें भरी जा चुकी हैं, जबकि 25 सीटों पर दाखिले का अवसर अभी भी खुला है। स्कूल प्रिंसिपल डॉ. सतवीर के मुताबिक, चालीस हजार रुपये वेतन पाने वाले अभिभावक भी अब ईडब्ल्यूएस प्रक्रिया का इंतजार कर रहे हैं।

इस प्रकार, अभिभावकों को दूसरी सूची का इंतजार करते हुए उम्मीद है कि उन्हें इच्छित स्कूल में दाखिला मिल सकेगा।


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