गुरमीत राम रहीम को 21 दिन की फरलो, सिरसा आश्रम जाने की मिली इजाजत
सुनारिया जेल से सिरसा डेरे के लिए रवाना, पुलिस-प्रशासन ने किए कड़े सुरक्षा इंतजाम
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रोहतक (हरियाणा) : डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को 21 दिन की फरलो मिल गई है। बुधवार सुबह उन्हें रोहतक की सुनारिया जेल से रिहा किया गया और वह कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच सिरसा स्थित अपने आश्रम के लिए रवाना हुए। यह पहली बार है जब राम रहीम को सीधे सिरसा डेरे जाने की अनुमति दी गई है। इससे पहले उन्हें हमेशा उत्तर प्रदेश के बरनावा आश्रम में फरलो या पैरोल पर भेजा जाता था।
राम रहीम को फरलो पर भेजे जाने के निर्णय के बाद प्रशासन और पुलिस की ओर से सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए गए हैं। सिरसा और आसपास के क्षेत्रों में पुलिस बल को तैनात किया गया है ताकि किसी भी तरह की अप्रिय घटना से बचा जा सके।
जेल प्रशासन ने राम रहीम को फरलो के दौरान कई शर्तों का पालन करने का निर्देश दिया है। इनमें सामाजिक सौहार्द बिगाड़ने वाले किसी भी बयान, सभा या भीड़ इकट्ठा करने से बचने का निर्देश प्रमुख रूप से शामिल है। इसके अलावा, वह प्रशासन की निगरानी में रहेंगे और तय समय पर जेल वापसी अनिवार्य होगी।
गुरमीत राम रहीम को साध्वी यौन शोषण मामले में दोषी ठहराया गया था और उन्हें 20 साल की सजा सुनाई गई है। वह 2017 से सुनारिया जेल में सजा काट रहे हैं। फरलो के तहत उन्हें सजा के दौरान कुछ दिनों के लिए जेल से बाहर जाने की कानूनी अनुमति मिलती है, बशर्ते वे सभी शर्तों का पालन करें।
राम रहीम की फरलो को लेकर सोशल मीडिया और राजनीतिक गलियारों में भी चर्चा तेज हो गई है। कुछ लोगों ने प्रशासन के फैसले पर सवाल उठाए हैं, जबकि समर्थक इसे धार्मिक गतिविधियों से जोड़कर सामान्य प्रक्रिया बता रहे हैं।
अब देखना यह होगा कि सिरसा आश्रम में उनका यह 21 दिन का प्रवास किस तरह से आगे बढ़ता है और क्या यह किसी नई बहस को जन्म देता है।
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